“क्रोध मुर्खता से शुरु होता है और पश्चाताप पर खत्म होता है।”

जब क्रोध आये, तो उसके परिणाम पर विचार करो। – कन्फ्यूशस
भार हल्का हो जाता है, यदि प्रसन्नतापूर्वक उठाया जाए।- ओविड
उस इन्सान से ज्यादा गरिब कोई नहीं है, जिसके पास केवल पैसा है। – एडबिन पग
अपनी गलती स्वीकार कर लेने में लज्जा की कोई बात नहीं है। इससे, दुसरे शब्दों में, यही प्रमाणित होता है कि बीते हुए कल की अपेक्षा आज आप अधिक बुद्धिमान हैं। – अलेक्जेन्डर पोप
जिस प्रकार बिना घिसे हीरे पर चमक नहीं आती, ठिक उसी तरह बिना गलतियाँ किये मनुष्य सपूर्ण नहीं बनता। – चीनी कहावत
चिन्ता ने आज तक कभी किसी काम को पूरा नहीं किया। – स्वेट मार्डन

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